वाराणसी प्रदेश में प्रथम जबकि लखनऊ दूसरे स्थान पर: अपर परिवहन आयुक्त
लखनऊ। उत्तर प्रदेश के परिवहन राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) दयाशंकर सिंह के बसों के संचालन, राजस्व प्राप्ति इत्यादि निर्देशो का विभाग अनुपालन कर रहा है। राजस्व प्राप्ति एक महत्वपूर्ण मद है। 1 से 22 मई तक राजस्व प्राप्ति की वार्षिक लक्ष्य के सापेक्ष विभाग का राज्य स्तरीय औसत उपलब्धि 53.72 प्रतिशत है। परिक्षेत्रवार वाराणसी का राजस्व प्राप्ति 22 मई तक 59.02 प्रतिशत है तथा लखनऊ का 56.77 प्रतिशत, बरेली का 52.97 प्रतिशत, कानपुर का 52.22 प्रतिशत, आगरा का 50.8 प्रतिशत एवं मेरठ परिक्षेत्र का 50.22 प्रतिशत है।
यह जानकारी देते हुए अपर परिवहन आयुक्त निर्मल प्रसाद ने बताया कि लखनऊ परिक्षेत्र राजस्व प्राप्ति में वाराणसी परिक्षेत्र के पश्चात दूसरे स्थान पर है। यदि संभागवार देखा जाए तो लखनऊ संभाग 53.18 प्रतिशत के साथ 11वें स्थान पर। सभी 19 संभागों में राजस्व प्राप्ति में देवीपाटन संभाग 69.63 प्रतिशत के साथ प्रथम स्थान पर एवं बस्ती संभाग 67.3 प्रतिशत के साथ द्वितीय स्थान पर है। कानपुर संभाग राजस्व प्राप्ति में सबसे निचले स्थान पर है। निर्मल प्रसाद ने बताया कि जनपदवार राजस्व प्राप्ति में बलरामपुर का प्रदर्शन बेहतर है। बलरामपुर जनपद राजस्व प्राप्ति में 76.4 प्रतिशत के साथ प्रथम स्थान पर है। कौशाम्बी दूसरे स्थान पर एवं संतकबीरनगर राजस्व प्राप्ति में तीसरे स्थान पर है वहीं बागपत अंतिम स्थान पर है। उन्होंने बताया कि सभी संभागीय अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि अपने-अपने जनपदों में राजस्व प्राप्ति में वृद्धि के लिए कार्यवाही करें। उन्होंने बताया कि परिवहन मंत्री द्वारा प्राप्त निर्देशो का परिवहन विभाग आगे भी पालन करता रहेगा, जिससे कि राजस्व प्राप्ति के साथ-साथ अवैध संचालन, ओवरलोडिंग इत्यादि पर प्रभावी नियंत्रण स्थापित हो। परिवहन विभाग की प्रवर्तन टीम एचएसआरपी ओवरलोडिंग, अवैध संचालन के खिलाफ अभियान चला रहा है।
sudha jaiswal