Ganga Water Level: वाराणसी में मानसून की सक्रियता के साथ ही गंगा और वरुणा नदियों का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है। संभावित बाढ़ संकट को भांपते हुए जिला प्रशासन पूरी तरह अलर्ट मोड पर आ गया है। जिलाधिकारी सत्येंद्र कुमार ने बताया कि किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए समुचित तैयारियां कर ली गई हैं।
सभी संसाधनों का किया गया इंतजाम
प्रशासन ने अब तक कई दौर की समन्वय बैठकें आयोजित कर बाढ़ से जुड़े सभी विभागों को जिम्मेदारियां सौंप दी हैं। जिले के संवेदनशील क्षेत्रों में बाढ़ चौकियों की स्थापना कर दी गई है और वहां आवश्यक संसाधनों—बोट, लाइफ जैकेट, जनरेटर, सर्च लाइट आदि—को पहले से ही भेजा जा चुका है।

पशुओं के लिए चारा और प्रभावित लोगों के लिए राहत सामग्री की आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए टेंडर प्रक्रिया भी पूरी कर ली गई है। बाढ़ के दौरान राहत कार्यों (Ganga Water Level) को तेजी से अंजाम देने के लिए एनडीआरएफ और जल पुलिस की टीमें पहले ही तैनात कर दी गई हैं।
Ganga Water Level: आपातकालीन सेवा अलर्ट
जिलाधिकारी ने बताया कि प्रशासन लगातार जलस्तर की निगरानी कर रहा है। किसी भी बदलाव पर तुरंत कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी। आपातकालीन सेवाओं (Ganga Water Level) को स्टैंडबाय मोड में रखा गया है, ताकि बाढ़ की स्थिति बनने पर तत्काल राहत पहुंचाई जा सके। प्रशासन ने आम जनता से अफवाहों पर ध्यान न देने और केवल प्रशासनिक निर्देशों का पालन करने की अपील की है। किसी भी आपात स्थिति में हेल्पलाइन नंबर और कंट्रोल रूम के माध्यम से मदद ली जा सकती है।

कितना है गंगा का जलस्तर
बताते चलें कि वाराणसी में गंगा का जलस्तर तेजी से बढ़ रहा है, जिससे शहर के घाटों और किनारे बसे मंदिरों पर संकट मंडराने लगा है। बढ़ते जलस्तर के चलते घाटों की सीढ़ियां और घाट के आसपास स्थित छोटे-छोटे मंदिर पानी की जद में आ गए है। हर घंटे 1 सेंटीमीटर की रफ्तार से जलस्तर बढ़ रहा है। केंद्रीय जल आयोग के अनुसार गुरूवार की सुबह 8 बजे गंगा का जलस्तर 62.52 मीटर दर्ज किया गया। चेतावनी बिंदु से गंगा अभी लगभग 8 मीटर नीचे है।