Delhi :लाल किला मेट्रो स्टेशन के गेट नंबर-1 के पास सोमवार की शाम चलती कार में जोरदार धमाका हुआ। धमाका इतना जोरदार था कि आस-पास के लोग इसके चपेट में आ गाए। जिसमें 12 लोगों के मरने की खबर सामने आई है, इसमें 2 महिलाएं शामिल हैं। वहीं अन्य घायलों का इलाज जारी है। साथ ही पुलिस ने दो शवो की पहचान कर ली है। बाकी की पहचान DNA टेस्ट से की जाएगी।

आपको बता दें कि इस ब्लास्ट में जिस सफेद i20 कार का इस्तेमाल हुआ, उसका एक CCTV फुटेज भी मंगलवार को सामने आया है। इस फुटेज में काले रंग का मास्क पहने एक शक्स कार में बैठा दिखाई दे रहा है। दिल्ली पुलिस (Delhi) के अनुसार कार में बैठा व्यक्ति आतंकी डॉ. उमर है, जो कार को चला रहा है। ऐसा दावा किया जा रहा है कि इस आतंकी के ऊपर जैश-ए मोहम्मद आतंकी से जुड़े होने का अरोप है और यह पुलवामा का रहने वाला है।
हालाकि, पुलिस के अनुसार उमर ने खुद को विस्फोट के साथ उड़ाया है। ऐसे में इसकी जांच हो रही है कि क्या ये वाकई में आतंकी डॉ. उमर है या नही? इसकी DNA जांच के लिए कश्मीर पुलिस ने पुलवामा में उसकी मां और दो भाई को हिरासत में लिया था।

Delhi मेट्रो स्टेशन के 2 गेट बन्द
दिल्ली में सुरक्षा एजेंसियों ने एहतियातन मेट्रो स्टेशन के 2 गेट बंद कर दिए हैं। इसके साथ ही लाल किले को भी 13 नवंबर तक लोगों के लिए बंद कर दिया गया है। ताकि किसी भी अप्रिय घटना से बचा जा सके और लोग सुरक्षित रहे।
PM मोदी ने दी मरने वालों को श्रद्धांजलि
पीएम मोदी ने दिल्ली (Delhi) ब्लास्ट की घटना को बेहद दुखद बताया है और इसमें मरने वालों को श्रद्धांजलि दी है। उन्होंने चेतवानी देते हुए कहा- दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा।
दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल के सूत्रों के मुताबिक, डॉ. उमर पार्किंग में खड़ी i-20 कार में लगभग ढाई से तीन घंटे तक बैठा रहा। वह एक पल के लिए भी कार से बाहर नहीं निकला। ऐसे में यह दावा किया जा रहा है कि डॉ. उमर या तो किसी का इंतजार कर रहा था या फिर पार्किंग में किसी निर्देश का इंतजार में था।

UAPA के तहत FIR दर्ज
दिल्ली पुलिस ने लाल किले के पास हुए विस्फोट को लेकर UAPA के तहत FIR दर्ज की है। सुरक्षा एजेंसियों ने आत्मघाती हमले के एंगल से भी जांच शुरू कर दी है। हालाकि, मौके से आरडीएक्स के सबूत नहीं मिले हैं।
शवों पर काले निशान नहीं
एक अधिकारी ने बताया कि घायलों के शरीर पर छर्रे या स्प्लिंटर की चोटें नहीं हैं, जो आमतौर पर बम धमाके में मिलती हैं। वहीं, शवों की जांच करने वाले (Delhi) LNJP अस्पताल के डॉक्टरों ने बताया कि आमतौर पर आईईडी विस्फोट में मृतकों के शरीर काले पड़ जाते हैं, लेकिन इस धमाके में ऐसा नहीं दिखा है।

