गाजीपुर (Ghazipur) से समाजवादी पार्टी के सांसद अफजाल अंसारी पर एक विवादित बयान के कारण मुकदमा दर्ज किया गया है। यह मामला सदर कोतवाली में दर्ज किया गया है, जहां सांसद ने हाल ही में गांजा के संबंध में कुछ विवादास्पद टिप्पणियां की थीं। उनके इस बयान ने स्थानीय स्तर पर काफी चर्चा और विवाद पैदा किया है।
Ghazipur सांसद का बयान सामाजिक सद्भाव को बिगाड़ने वाला
गोराबाजार चौकी प्रभारी (Ghazipur) की तरफ से यह मुकदमा दर्ज कराया गया है, जिसमें बीएनएस 353(3) की धाराओं का हवाला दिया गया है। इस धारा के तहत कानून की व्याख्या करते हुए आरोप लगाया गया है कि सांसद का बयान सामाजिक सद्भाव को बिगाड़ने और नशे के खिलाफ जागरूकता को नुकसान पहुंचाने वाला है।
दरअसल, सांसद (Ghazipur) अफजाल अंसारी ने पिछले दिनों ये कहते हुए गांजा वैध करने के लिए बयान दिया था कि भारत में लाखों लोग गांजा पीते हैं और इसे भगवान का प्रसाद भी मानते हैं। अगर गांजा भगवान का प्रसाद है, तो इसे अवैध क्यों माना जाता है? उन्होंने आगे कहा था कि कई साधु-संत और महात्मा भी गांजे का सेवन करते हैं। अगर कुम्भ मेला के दौरान वहां एक मालगाड़ी गांजा भी भेज दिया जाए, तो भी वह खत्म हो जाएगा।
अफजाल अंसारी ने दिया था ये विवादित बयान
अफजाल अंसारी, जो पहले से ही राजनीतिक विवादों में घिरे हुए हैं, इस नई कानूनी चुनौती से और अधिक परेशानी में फंस गए हैं। उनके खिलाफ इस तरह की कार्रवाई से यह स्पष्ट होता है कि न केवल राजनीतिक प्रतिकूलता बल्कि कानून के दायरे में भी उन्हें अब सवालों का सामना करना पड़ेगा।
स्थानीय राजनीति में इस घटना का व्यापक असर देखने को मिल सकता है। विपक्षी दलों ने इस मामले को लेकर अफजाल अंसारी की आलोचना की है, जबकि उनके समर्थकों ने इसे राजनीतिक प्रतिशोध के रूप में देखा है। गाजीपुर (Ghazipur) की राजनीतिक स्थितियों को देखते हुए, यह मामला न केवल अफजाल अंसारी के लिए बल्कि समाजवादी पार्टी के लिए भी महत्वपूर्ण हो गया है।
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