Transfer Fee: वाराणसी नगर निगम में नामांतरण शुल्क की बढ़ोतरी पर यूपी सरकार ने ऐतराज जताया है। नगर विकास मंत्री एके शर्मा ने इस बढ़ी हुई फीस को तत्काल रोकने के आदेश दिए हैं। इसके साथ ही उन्होंने नामांतरण शुल्क के इजाफे पर आख्या भी मांगी है। बता दें कि हाल ही में वाराणसी नगर निगम ने नामांतरण शुल्क 0.25 प्रतिशत किए जाने का प्रस्ताव पास किया गया था।
जिसके बाद भाजपा नेता शतरुद्ध प्रकाश ने इस पर [Transfer Fee] आपत्ति जताते हुए शासन को पत्र लिखकर इसपर रोक लागाने की मांग की थी। जिसके बाद शासन की ओर से यह निर्देश जारी किये गए हैं। इसके अलावा वाराणसी नगर निगम से पास हुए इस प्रस्ताव पर सदन के भीतर विपक्षी पार्षदों ने भी विरोध दर्ज कराई थी। साथ ही सरकार को भी इसके संबंध में कई आपत्तियां मिली थीं। नामांतरण शुल्क 0.25 प्रतिशत किए जाने के पहले वाराणसी नगर निगम में संपत्तियों के मूल्य के कई स्लैब थे। इनमें अलग-अलग संपत्ति मूल्य के अनुसार 1,200 से 5,000 रुपये तक नामांतरण शुल्क लिया जाता था।
Transfer Fee: 0.25% बढ़ा नामांतरण शुल्क
हालांकि अब इसपर 0.25 प्रतिशत नामांतरण शुल्क [Transfer Fee] कर दिया गया है तो इससे पुराने की तुलना में पांच से छह गुना तक फीस बढ़ गई है। विरासत के मामलों में भी नामांतरण शुल्क करवाने पर कोई राहत का प्रावधान नहीं दिया गया है। पांच हजार रुपये इसके लिए नामांतरण शुल्क लिए जाने का प्राविधान है। ऐसे में देखा जाए तो पांच हजार की रजिस्ट्री के बाद पांच हजार रुपये नामांतरण के लिए देने का प्राविधान है।
तमाम आपत्तियों में से एक आपत्ति पूर्व एमएलसी शतरुद्ध प्रकाश की भी थी। उन्होंने नगर विकास मंत्री एके शर्मा को पत्र भी लिखा था और उनसे मिलकर इस बढ़ोतरी पर ऐतराज जताया था। उनकी आपत्तियों को देखते हुए नगर विकास मंत्री ने वाराणसी के नगर आयुक्त को लिखे पत्र में कहा है कि वे इस इजाफे को तत्काल रोक दें। इसके अलावा उन्होंने बढ़ोतरी के लिए आधार भी पूछा है।