Varanasi: चेतगंज पुलिस ने सोमवार को एक चार्टर्ड अकाउंटेंट को निवेश के नाम पर धोखाधड़ी और धमकी देने के मामले में गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार आरोपी की पहचान मयूर विहार कॉलोनी, सरैया फुलवरिया निवासी सतीश कुमार चौबे के रूप में हुई है। चौबे पर चार अलग-अलग लोगों से लाखों रुपये ठगने का आरोप है।
एसीपी चेतगंज गौरव कुमार के अनुसार, आरोपी ने मलदहिया क्षेत्र की इंडियन प्रेस कॉलोनी में अपना कार्यालय खोल रखा था। वर्ष 2024 के अक्टूबर माह में चार पीड़ितों (Varanasi) ने चौबे के खिलाफ ठगी की अलग-अलग शिकायतें दर्ज कराईं।
varanasi: ये मामले आए सामने
पहला मामला 6 अक्टूबर को महामना नगर कॉलोनी, करौंदी निवासी सौरभ सिंह (Varanasi) की ओर से दर्ज किया गया। सौरभ ने पुलिस को बताया कि सतीश ने उन्हें निवेश पर मोटे मुनाफे का लालच देकर 26 लाख रुपये का चूना लगाया। दूसरी शिकायत 7 अक्टूबर को हरिशंकर उपाध्याय ने दर्ज कराई। हरिशंकर का आरोप है कि सतीश ने उनसे भी निवेश के नाम पर 15 लाख रुपये की ठगी की।
तीसरा केस 8 अक्टूबर को राजेंद्र विहार कॉलोनी, चितईपुर निवासी विश्वजीत शाह ने दर्ज कराया, जबकि चौथा मामला 9 अक्टूबर को प्रेमचंद नगर कॉलोनी, पांडेयपुर (Varanasi) निवासी बृजेश कुमार सिंह की ओर से दर्ज हुआ। चारों शिकायतों में एक जैसा पैटर्न सामने आया — अधिक लाभ का झांसा देकर निवेश करवाना और फिर पैसे हड़प लेना।
पुलिस सूत्रों के अनुसार, आरोपी चौबे पीड़ितों को अपने कार्यालय बुलाकर निवेश के नाम पर मीठी-मीठी बातें करता था और जल्द मुनाफे का लालच देकर मोटी रकम वसूलता था। जब पीड़ितों ने पैसे वापस मांगे, तो उन्हें धमकाने की भी कोशिश की गई।
इस मामले में पुलिस (Varanasi) की जांच का दायरा अब और भी बढ़ गया है। सतीश चौबे से पूछताछ के दौरान दो अन्य संदिग्धों के नाम भी सामने आए हैं— त्रिभुवन नारायण तिवारी और उनकी पत्नी साधना तिवारी, जो मोलनापुर, चौबेपुर के निवासी हैं। दोनों की भूमिका की जांच जारी है।
पुलिस ने बताया कि यह एक सुनियोजित ठगी का नेटवर्क हो सकता है, जिसमें और भी पीड़ित सामने आ सकते हैं। चेतगंज थाने की टीम अब अन्य संभावित पीड़ितों से संपर्क करने की कोशिश कर रही है ताकि पूरे गिरोह का पर्दाफाश किया जा सके।