आगरा। छत्रपति शिवाजी महाराज की 393वीं जयंती पर आगरा किले में उनकी शौर्य गाथा गूंजेगी। महाराष्ट्र सरकार और अजिंक्य देवगिरि फाउंडेशन की ओर से आगरा के किले में शिवाजी जयंती का आयोजन किले में किए जा रहा है। बता दें कि करीब 350 साल पहले औरंगजेब ने किले में ही छत्रपति शिवाजी और उनके बेटे युवराज संभाजी को कैद करके रखा था। मगर, शिवाजी महाराज कैद से भाग निकले में सफल रहे थे। इस घटना की मराठा इतिहास में उल्लेख है।
इसको देखते ही किले में जयंती मनाई जा रही है। इसके लिए भारतीय पुरातत्व विभाग द्वारा इजाजत भी दे दी गई है। रविवार को आगरा किले में शिवाजी महाराज की शौर्य गाथा गूंजेंगी। 19 फरवरी को शिवाजी महाराज की 393वीं जयंती है। आगरा किले में महाराष्ट्र सरकार व अजिंक्य देवगिरि फाउंडेशन द्वारा कार्यक्रम आयोजित किया जा रहा है। इसमें महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे व उनके कई मंत्री मौजूद रहेंगे। बताया गया है कि महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री ने सीएम योगी को भी कार्यक्रम में उपस्थित रहने के लिए आमंत्रित किया है। हालांकि सीएम योगी आदित्यनाथ का अभी आधिकारिक कार्यक्रम जारी नहीं हुआ है, लेकिन माना जा रहा है कि वो कार्यक्रम में शिरकत करेंगे। शिवाजी जयंती के लिए आगरा किले के दीवाने आम में कार्यक्रम के लिए एएसआई मुख्यालय से अनुमति प्रदान की जा चुकी है। बताया गया है कि 19 फरवरी की शाम सवा छह बजे कार्यक्रम की शुरूआत होगी।
रात नौ बजे तक कार्यक्रम चलेगा। कार्यक्रम में पोवाड़ा पालना मराठी गीत, महाराष्ट्र का गीत गायन व छत्रपति शिवाजी महाराज पर 70 कलाकारों की नाट्य प्रस्तुति की जाएगी। कार्यक्रम में करीब 2000 लोगों के रहने की उम्मीद है। इसके अलावा इस कार्यक्रम का पूरे डिजीटल प्रसारण भी किया जाएगा। बता दें कि इस कार्यक्रम को डिजीटल आयोजित कर पूरी दुनिया में करीब एक करोड़ लोगों को जोड़ने का लक्ष्य रखा गया है। आगरा के रामलीला मैदान में भी बड़ी स्क्रीन लगाई जाएगी।
बताया जा रहा है कि 350 साल पहले आगरा का किला में मुगल बादशाह औरंगजेब ने छत्रपति शिवाजी महाराज और उनके बेटे युवराज संभाजी को कैद किया था। औरंगजेब ने उन्हें मारने की साजिश रची थी, लेकिन शिवाजी महाराज यहां से सकुशल निकल भागे थे। इस घटना की मराठों के इतिहास में बड़ी अहमियत है।
sudha jaiswal