वाराणसी की एमपी/एमएलए कोर्ट ने पूर्व मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य (Swami Prasad Maurya) के खिलाफ रामचरित मानस पर विवादित टिप्पणी के मामले में मुकदमा दर्ज करने का आदेश दिया है। इस आदेश के बाद कैंट थाने में स्वामी प्रसाद मौर्य के खिलाफ केस दर्ज किया गया है।
Swami Prasad Maurya: क्या है मामला?
स्वामी प्रसाद मौर्य ने जनवरी 2023 में एक टीवी इंटरव्यू के दौरान रामचरित मानस को लेकर विवादित बयान दिया था। उन्होंने कहा था कि तुलसीदास ने अपनी प्रसन्नता के लिए रामचरित मानस लिखा है, यह कोई धार्मिक ग्रंथ नहीं है बल्कि इसमें जाति विशेष के खिलाफ अपमानजनक बातें लिखी गई हैं। इस बयान के बाद पूरे देश में स्वामी प्रसाद मौर्य का विरोध हुआ था और कई जगहों पर उनके खिलाफ मुकदमे दर्ज किए गए थे।
एमपी/एमएलए कोर्ट के अपर मुख्य न्यायाधीश नीरज कुमार ने अधिवक्ता अशोक कुमार द्वारा दाखिल याचिका पर सुनवाई करते हुए पूर्व मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य (Swami Prasad Maurya) के खिलाफ केस दर्ज करने का आदेश दिया। कोर्ट ने कैंट थाना प्रभारी को समुचित धाराओं के तहत अभियोग पंजीकृत कर मामले की विवेचना करने का निर्देश दिया है²।
कैंट थाने में स्वामी प्रसाद मौर्य (Swami Prasad Maurya) के खिलाफ विभिन्न धाराओं में केस दर्ज किया गया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है और बयान के वीडियो और अन्य साक्ष्यों की पड़ताल की जा रही है। यह मामला लगभग दो साल पुराना है, लेकिन अब वाराणसी पुलिस इस पर शिकंजा कसने की तैयारी कर रही है।