- अस्सी घाट पर उमड़ी रही तमिल समाज की भीड़
- सुबह से लेकर अपराह्न तक चला अनुष्ठान, भंडारे का हुआ आयोजन
राधेश्याम कमल
वाराणसी। गंगा पुष्कर और जगदगुरु आदि शंकराचार्य जयंती महोत्सव के छठें दिन बुधवार को ब्रह्मश्री श्रीनिवास की अध्यक्षता में अस्सी घाट पर नारायण बलि का आयोजन किया गया। इसमें हजारों लोगों ने भागीदारी की। नारायण बलि के साथ ही छोटानागपुर वाटिका में चल रहे आदिशंकराचार्य जयंती एवं पुष्कर मेला महोत्सव में भारी भीड़ जमा थी। इस अवसर पर विशाल भंडारे का भी आयोजन किया गया जिसमें भारी संख्या में तमिल समाज के लोगों ने भाग लेकर प्रसाद ग्रहण किया। कार्यक्रम का शुभारंभ प्रात:काल दस बजे से प्रारंभ हुआ जो अनवरत अपराह्न दो बजे तक चलता रहा।
इस अवसर पर ब्रह्मश्री श्रीनिवास ने बताया कि संसार में जो भी जीव जंतु मनुष्य प्राकृतिक आपदा या दुर्घटना अन्य किसी भी कारण से मृत हो जाते हैं जिनका संसार में पूछने वाला कोई नहीं है ऐसे लोगों के उद्धार के लिए नारायण बलि दी जाती है। बुधवार को अस्सी घाट पर आयोजित नारायण बलि में भक्तों की काफी भीड़ रही। लोग जोर शोर से इस यज्ञ घर के हिस्सा बनें। शाम में ब्रह्मश्री मुदुगुंडा शंकर शर्मा ने वेद और शास्त्र पर प्रवचन दिया। इसके साथ ही वशिष्ठ का भी प्रवचन हुआ।
आदि शंकराचार्य भक्त समाज के व्यवस्थापक अध्यक्ष ब्रह्मश्री श्रीनिवास बग्गारईया शर्मा जी ने कहा कि मनुष्य जन्म उत्तम है और भगवान ने जो यह जन्म दिया है उसे अच्छे कार्यक्रमों के लिए व्यतीत करना चाहिए। बताया कि 29 अप्रैल को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी गंगा पुष्कर का वर्चुअल संबोधन करेंगे। नरेन्द्र मोदी जब से प्रधानमंत्री बने हैं दुनिया में भारत का नाम रोशन होते जा रहा है । इस कार्यक्रम का तेलुगु टिप्पणी तेलुगु के ही प्रसिद्ध प्रवचनकर्ता ब्रह्मश्री सामवेदंम सन्मुख शर्मा कर रहे थे। कार्यक्रम में संस्था के अध्यक्ष श्री रमेश गुप्ता, श्री मल्लाइया गुप्ता, शिवशंकर, श्रीमती राजेश्वरी श्रीमती राणी, श्रीमती लक्ष्मी सहित हजारों महिलाएं ने भाग लिया।