Varanasi: दुनिया की समृद्ध महिलाओं में से एक और एप्पल के सह-संस्थापक दिवंगत स्टीव जॉब्स की पत्नी लारेन पॉवेल जॉब्स भारतीय संस्कृति और आध्यात्मिकता के अन्वेषण के लिए भारत आई हैं। वह प्रयागराज में महाकुंभ के दौरान संगम में डुबकी लगाकर सनातन परंपराओं का अनुभव करेंगी। इसके साथ ही, वह साधुओं और संतों के साथ समय बिताकर भारतीय अध्यात्म और संस्कृति को नजदीक से समझने का प्रयास करेंगी।
Varanasi: काशी भ्रमण कर गंगा आरती का लिया अनुभव
लारेन पॉवेल अपनी यात्रा की शुरुआत वाराणसी से की। यहां उन्होंने बाबा विश्वनाथ मंदिर में दर्शन किए, गंगा में नौकायन का आनंद लिया, और काशी की प्रसिद्ध सायंकालीन गंगा आरती में भाग लिया। वह कैंट क्षेत्र के एक होटल में ठहरीं और वाराणसी के विभिन्न ऐतिहासिक और धार्मिक स्थलों का भ्रमण किया।
महाकुंभ में कल्पवास और साधना
लारेन पॉवेल प्रयागराज महाकुंभ में लगभग 10 दिन बिताएंगी। इस दौरान वह श्रीनिरंजनी अखाड़ा के आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी कैलाशानंद गिरि के शिविर में ठहरेंगी और साधना, ध्यान, और तप में लीन होकर आत्मिक शांति का अनुभव करेंगी।
‘कमला’ नाम और गोत्र में स्थान
स्वामी कैलाशानंद जी ने बताया कि लारेन पॉवेल का नया नाम ‘कमला’ रखा गया है और उन्हें बेटी की तरह गोत्र में स्थान दिया गया है। स्वामी जी ने कहा, “यह हमारे लिए गर्व का विषय है कि वह भारतीय परंपराओं को समझने में रुचि रखती हैं।” उन्होंने यह भी संकेत दिया कि पॉवेल अखाड़े की पेशवाई (शाही स्नान से पहले का भव्य जुलूस) में भाग ले सकती हैं।
जॉब्स परिवार का भारत से गहरा रिश्ता
स्टीव जॉब्स का भारत और अध्यात्म से गहरा जुड़ाव था। 1970 के दशक में उन्होंने नैनीताल के कैंची धाम में बाबा नीम करौली महाराज के दर्शन किए थे, जिनसे वे अत्यधिक प्रभावित हुए। उनकी पत्नी लारेन पॉवेल भी भारतीय संस्कृति और हिंदू-बौद्ध परंपराओं को समझने के लिए गहराई से प्रयासरत हैं।
Highlights
महाकुंभ में विशेष कार्यक्रम
महाकुंभ के दौरान पॉवेल संगम में स्नान, साधुओं के साथ ध्यान, और पूजा में भाग लेंगी। स्वामी कैलाशानंद जी ने कहा कि यह एक निजी यात्रा है, जिसमें पॉवेल आध्यात्मिक शांति और ज्ञान प्राप्त करने की इच्छा से शामिल हो रही हैं। उनकी यह यात्रा भारतीय संस्कृति और आध्यात्मिकता की ओर उनके गहरे आकर्षण को दर्शाती है।